Family Suicide : पंचकूला में कार में मिले 7 शव: आत्महत्या या रहस्य? बुराड़ी कांड जैसी दिल दहला देने वाली घटना

हरियाणा के पंचकूला में सोमवार रात एक ऐसी भयावह घटना सामने आई जिसने पूरे देश को हिला कर रख दिया। सेक्टर-27 में एक कार में एक ही परिवार के सात लोगों के शव संदिग्ध हालत में पाए गए। यह मामला उस समय सामने आया जब स्थानीय लोगों को रात 11 बजे एक बंद कार पर शक हुआ। कार के शीशों पर तौलिया लगा हुआ था और अंदर से कुछ हलचल दिख रही थी। मौके पर पहुंचे लोगों ने देखा कि कार में मौजूद लोग तड़प रहे थे और एक व्यक्ति बाहर निकलने की कोशिश कर रहा था।
देहरादून से पंचकूला आए थे कथा सुनने
मृतक परिवार उत्तराखंड के देहरादून का रहने वाला था। प्रवीण मित्तल नामक व्यक्ति अपने पिता देशराज मित्तल, मां, पत्नी और तीन बच्चों के साथ पंचकूला पांच दिवसीय हनुमंत कथा सुनने आए थे। कथा समाप्त होने के बाद परिवार वापस देहरादून लौट रहा था, लेकिन बीच रास्ते यह दिल दहला देने वाली घटना घट गई।
मौके पर पुलिस और फोरेंसिक टीम की जांच
घटना की सूचना मिलते ही पंचकूला पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी घटनास्थल पर पहुंचे। डीसीपी हिमाद्री कौशिक और डीसीपी लॉ एंड ऑर्डर अमित दहिया मौके पर पहुंचे और जांच शुरू की। फॉरेंसिक टीम ने कार के अंदर से सभी सबूत इकट्ठा किए हैं, जिससे यह पता लगाया जाएगा कि कार के अंदर क्या हुआ।
प्रारंभिक जांच में आत्महत्या की आशंका जताई जा रही है। कार में सवार एक व्यक्ति ने लोगों से बताया कि वे भारी कर्ज में डूबे हुए थे। पुलिस को घटनास्थल से एक सुसाइड नोट भी मिला है, जिससे पुष्टि होती है कि परिवार मानसिक और आर्थिक तनाव में था।

अस्पताल में मौत की पुष्टि
स्थानीय लोगों की सूचना पर पुलिस ने सातों को तत्काल पंचकूला के ओजस अस्पताल पहुंचाया। वहां डॉक्टरों ने पुष्टि की कि सभी की मौत हो चुकी है। सूत्रों का कहना है कि सभी ने संभवतः जहर खाकर आत्महत्या की।

आत्महत्या की वजह बनी आर्थिक तंगी
प्रवीण मित्तल का परिवार काफी समय से आर्थिक तंगी से गुजर रहा था। जानकारी के अनुसार उन पर भारी कर्ज था जिसे चुका पाने में वे असमर्थ थे। यही कारण हो सकता है कि उन्होंने यह कठोर कदम उठाया। इस घटना ने समाज में बढ़ती आर्थिक दबाव की गंभीरता को एक बार फिर उजागर कर दिया है।
देहरादून में भी होगी जांच
पुलिस इस मामले की तह तक जाने के लिए देहरादून में भी जांच करेगी। मित्तल परिवार के पड़ोसियों और जान-पहचान वालों से पूछताछ की जाएगी ताकि यह पता लगाया जा सके कि कर्ज का बोझ कैसे बढ़ा और परिवार मानसिक तौर पर कितनी परेशानी में था।

बुराड़ी कांड की याद ताजा
यह मामला साल 2018 में दिल्ली के बुराड़ी इलाके में हुए उस कांड की याद दिलाता है, जिसमें एक ही परिवार के 11 लोग मृत पाए गए थे। बुराड़ी केस में भी आर्थिक और मानसिक दबाव की बात सामने आई थी। वहां भी लोगों ने आत्महत्या जैसा कदम उठाया था, जो बाद में एक बड़े रहस्य और अंधविश्वास से जुड़ा मामला निकला।
पंचकूला की यह घटना भी कुछ वैसी ही रहस्यमयी प्रतीत होती है। हालांकि यहां पुलिस को एक सुसाइड नोट मिला है जिससे शुरुआती तौर पर यह आत्महत्या का मामला लग रहा है, लेकिन विस्तृत जांच के बाद ही सही कारणों का खुलासा होगा।
समाज को सोचने पर मजबूर करती घटना
यह घटना सिर्फ एक खबर नहीं, बल्कि एक बड़ा सामाजिक संदेश है कि मानसिक तनाव और आर्थिक दबाव मिलकर इंसान को किस हद तक तोड़ सकते हैं। यह घटना दर्शाती है कि हमें अपने आसपास के लोगों की मानसिक स्थिति को समझने और समय रहते सहायता देने की जरूरत है।
अब आगे क्या?
पुलिस इस मामले में सभी पहलुओं की जांच कर रही है। कार को जब्त कर लिया गया है और सभी शवों को पंचकूला के निजी अस्पतालों में पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट और फॉरेंसिक जांच के बाद ही स्पष्ट रूप से कहा जा सकेगा कि मौत की असली वजह क्या थी।
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