बैंक ग्राहकों के लिए बड़ा खतरा, बैंक कर्मचारी भी साइबर ठगों के साथ
बैंकों में अपनी मेहनत की कमाई को सुरक्षित रखने वाले आम लोगों के लिए एक चौंकाने वाली खबर सामने आई है। गुरुग्राम पुलिस ने 31 ऐसे बैंक कर्मचारियों को गिरफ्तार किया है, जो साइबर ठगों के साथ मिलकर ग्राहकों के बैंक खातों की डिटेल्स साझा कर रहे थे। इन कर्मचारियों में बैंक मैनेजर तक शामिल हैं, जो कमीशन लेकर साइबर अपराधियों को बैंक खाते उपलब्ध कराते थे।
कैसे हो रहा था घोटाला?
साइबर क्राइम की जांच के दौरान पुलिस ने पाया कि कुछ बैंक कर्मचारी और मैनेजर मोटे कमीशन के लालच में साइबर ठगों को बैंक खाता खोलने में मदद कर रहे थे। ये लोग फर्जी दस्तावेजों के आधार पर खाते खोलते थे और फिर उन खातों में ठगी की गई रकम को ट्रांसफर किया जाता था। इन कर्मचारियों को साइबर ठगों से सीधा फायदा मिलता था, क्योंकि वे ठगी गई रकम का एक हिस्सा बतौर कमीशन लेते थे।
गुरुग्राम पुलिस का एक्शन
गुरुग्राम पुलिस ने जब इन घटनाओं की तहकीकात की, तो पता चला कि इन साइबर अपराधियों को बैंक कर्मचारियों का पूरा सहयोग मिल रहा था। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए 31 बैंक कर्मचारियों को गिरफ्तार किया है, जिनमें कई बैंक मैनेजर भी शामिल हैं। पुलिस अब इस मामले में आगे की जांच कर रही है और अन्य संदिग्धों पर भी नजर रख रही है।
डिजिटल ठगी के बढ़ते मामले
बढ़ती डिजिटलization के साथ ही साइबर ठगी के मामले भी तेजी से बढ़ रहे हैं। आम लोग अपनी मेहनत की कमाई को सुरक्षित रखने के लिए बैंकों पर भरोसा करते हैं, लेकिन जब बैंक के ही कर्मचारी ठगी में शामिल हो जाएं, तो ग्राहकों की सुरक्षा पर बड़ा सवाल खड़ा हो जाता है। यह घोटाला बताता है कि साइबर ठग अब सिर्फ आम लोगों को ही नहीं बल्कि बैंकों की सुरक्षा व्यवस्था को भी निशाना बना रहे हैं।
पुलिस की अपील: सतर्क रहें और शिकायत करें
गुरुग्राम पुलिस ने आम जनता से अपील की है कि वे डिजिटल फ्रॉड से बचने के लिए सतर्क रहें। किसी भी अनजान लिंक को क्लिक करने से पहले उसकी जांच कर लें और अगर कोई साइबर फ्रॉड होता है, तो तुरंत पुलिस में शिकायत दर्ज कराएं।