Bewafa Sonam की साजिश में लिपटा हनीमून, खून का बना टिकट
Bewafa Sonam राजा रघुवंशी की हत्या का मामला अब एक रोंगटे खड़े कर देने वाली साजिश बन चुका है। जिस हनीमून को हर नवविवाहित जोड़ा अपनी जिंदगी की खूबसूरत शुरुआत मानता है, वही राजा के लिए मौत का टिकट बन गया। मेघालय पुलिस की जांच में सामने आए पांच ऐसे खुलासे हैं जो यह साबित करते हैं कि यह कोई सामान्य हत्या नहीं, बल्कि एक माइक्रो-प्लांड मर्डर था।

संपत्ति विवाद निकला हत्या की जड़
जांच में पहला बड़ा खुलासा यह हुआ कि राजा रघुवंशी की हत्या के पीछे पारिवारिक संपत्ति को लेकर चल रहा पुराना विवाद था। वर्षों से दबी इस रंजिश को सोनम ने अपने तरीके से अंजाम दिया। अब इस साजिश में उसके भाई की भूमिका भी सवालों के घेरे में है।
क्या सोनम का भाई भी इस प्लान में शामिल था?
मेघालय पुलिस को संदेह है कि सोनम का भाई गौरव रघुवंशी भी हत्या की योजना में शामिल हो सकता है। पुलिस को कॉल डिटेल और ट्रांजेक्शन हिस्ट्री में इस बात के संकेत मिले हैं कि शिलॉन्ग में होटल की बुकिंग अचानक क्यों बदली गई। सोनम और गौरव लगातार संपर्क में थे, जो शक को और गहरा करता है।
सोनम ने क्यों पहने थे भारी गहने?
राजा की मां ने खुद यह सवाल उठाया था कि कोई भी महिला हनीमून पर इतना सोना क्यों पहनकर जाती है? सोनम के पास चेन, अंगूठियां और भारी ब्रेसलेट थे, यहां तक कि उसने राजा को भी लाखों रुपये के गहने पहनाए थे। माना जा रहा है कि हत्या के बाद सोनम ने यह जेवर हत्यारों के जरिए वापस मंगवाने की कोशिश की। पुलिस अब इन गहनों की तलाश कर रही है।
सिर्फ जाने का टिकट बुक, वापसी का नहीं
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि सोनम ने शिलॉन्ग के लिए हनीमून का टिकट तो खुद बुक किया, लेकिन लौटने का कोई इंतज़ाम नहीं किया। यह दिखाता है कि वह शुरुआत से जानती थी कि राजा अब वापस नहीं आएगा। यह एकतरफा प्लानिंग थी, जिसमें मौत तय थी।
जंगल में हत्या का पूरा नक्शा सोनम ने खींचा
मेघालय पुलिस का कहना है कि सोनम ने पहले ही लोकेशन तय कर ली थी जहां हत्या होनी थी। वह जगह दुर्गम, सुनसान और बिना गवाहों वाली थी। कहा जा रहा है कि सोनम वहां की रेकी भी पहले कर चुकी थी और हत्यारों को रास्ते समझा चुकी थी।

प्यार नहीं, प्लानिंग थी फोन पर की गई बातें
हत्या वाले दिन तक सोनम फोन पर राजा से प्यार से बातें करती रही। कॉल डिटेल में सामने आया कि वह झूठे दिलासे देकर राजा को तसल्ली देती रही। अब पुलिस उसकी चैट्स और कॉल रिकॉर्डिंग को फॉरेंसिक जांच में भेज चुकी है, ताकि यह साबित किया जा सके कि सब एक स्क्रिप्टेड नाटक था।
आरोपी अंतिम संस्कार में भी मौजूद!
राज कुशवाहा, जो हत्या के आरोपियों में शामिल है, वह राजा के अंतिम संस्कार में भी शरीक हुआ था। वह ऐसे बर्ताव कर रहा था जैसे कुछ हुआ ही नहीं। यह बात पुलिस के लिए बेहद अहम सुराग है, जो दिखाता है कि पूरी साजिश कितनी बारीकी से रची गई थी।
अब तक कौन-कौन हुआ गिरफ्तार?
पुलिस ने पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया है:
- आकाश राजपूत (19) – ललितपुर, यूपी
- विशाल सिंह चौहान (22) – इंदौर, एमपी
- राज सिंह कुशवाहा (21) – इंदौर, एमपी
- आनंद कुर्मी (23) – सागर, एमपी
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नई दिल्ली:
राजा रघुवंशी की हत्या के मामले ने पूरे देश को झकझोर दिया है। जिस पल को हर नवविवाहित जोड़ा अपनी जिंदगी की सबसे खूबसूरत याद बनाना चाहता है, वही पल राजा के लिए जीवन का सबसे भयानक अंत बन गया। मेघालय की वादियों में हनीमून के बहाने ले जाकर एक पत्नी ने अपने पति की हत्या की साजिश रच दी। पुलिस की शुरुआती जांच में पांच ऐसे चौंकाने वाले खुलासे सामने आए हैं, जिन्होंने इस मामले को एक दिल दहला देने वाली साजिश में बदल दिया है।

1. पारिवारिक संपत्ति विवाद निकला हत्या की जड़
राजा रघुवंशी की हत्या की जांच जब शुरू हुई तो शुरुआत में प्रेम संबंधों में खटास या घरेलू कलह को वजह माना जा रहा था। लेकिन जांच जैसे-जैसे गहराई में गई, पता चला कि इस खून की जड़ें संपत्ति विवाद से जुड़ी हुई हैं। राजा के परिवार में लंबे समय से जायदाद को लेकर विवाद चल रहा था, जो शांत जरूर था, पर पूरी तरह खत्म नहीं हुआ था। पुलिस को शक है कि सोनम ने इस विवाद का फायदा उठाकर अपने पति को रास्ते से हटाने की योजना बनाई।
2. सोनम का भाई भी शक के घेरे में, क्या बना सह-साजिशकर्ता?
जांच का दूसरा बड़ा एंगल सोनम के भाई गौरव रघुवंशी को लेकर सामने आया है। मेघालय पुलिस को कॉल रिकॉर्ड्स और ट्रांजेक्शन हिस्ट्री से संकेत मिले हैं कि गौरव भी इस योजना में शामिल था। शिलॉन्ग यात्रा के दौरान होटल बुकिंग में किया गया बदलाव पुलिस की नजर में आया, जिसमें पाया गया कि सोनम लगातार अपने भाई से संपर्क में थी। इससे शक और गहराता जा रहा है कि क्या वह भी हत्याकांड की इस साजिश में बराबर का हिस्सेदार था?
3. भारी जेवर के पीछे की कहानी, क्या आर्थिक मंशा भी थी?
एक आम नवविवाहित महिला हनीमून पर भारी जेवर क्यों पहनकर जाएगी? सोनम ने ऐसा किया और साथ ही राजा को भी लाखों रुपये के गहने पहनाकर साथ ले गई। राजा की मां ने भी इस पर सवाल उठाए थे कि किसी हनीमून ट्रिप के लिए इतनी महंगी ज्वेलरी की क्या जरूरत थी? पुलिस का मानना है कि यह सब योजना का हिस्सा था। सोनम संभवतः जेवर हत्यारों के जरिए वापस मंगवाना चाहती थी। यह हत्या केवल भावनात्मक नहीं, बल्कि आर्थिक मंशा से भी प्रेरित थी।
4. सिर्फ जाने का टिकट बुक, वापसी का कोई प्लान नहीं
मेघालय पुलिस की जांच में जो चौथा बड़ा खुलासा हुआ, वो सबसे ज्यादा चौंकाने वाला था। सोनम ने शिलॉन्ग की ट्रिप के लिए खुद टिकट बुक किया था लेकिन वापसी का कोई टिकट नहीं बुक किया गया। इसका मतलब था कि यह ट्रिप सिर्फ एकतरफा थी — हनीमून नहीं, एक सुनियोजित हत्या की यात्रा थी। योजना यही थी कि राजा वहां से कभी लौटे ही नहीं।
5. लोकेशन का चुनाव और हत्या की रेकी, सब कुछ था माइक्रो प्लानिंग का हिस्सा
पुलिस का दावा है कि सोनम ने जिस इलाके में राजा को ले जाकर घुमाया, वह काफी दुर्गम और सुनसान था। वह जानती थी कि वहां कोई गवाह नहीं होगा और न ही पुलिस को जल्द कोई सुराग मिलेगा। इतना ही नहीं, पुलिस को शक है कि सोनम पहले ही वहां की रेकी कर चुकी थी और हत्यारों को भी रास्ते समझा चुकी थी। यह सब इस बात की पुष्टि करता है कि यह एक साधारण हत्या नहीं, बल्कि माइक्रो लेवल पर की गई प्लानिंग का नतीजा थी।
फोन पर बहलाने का स्क्रिप्टेड ड्रामा
पुलिस को कॉल रिकॉर्ड्स से पता चला है कि हत्या से ठीक पहले तक सोनम राजा से फोन पर प्रेमपूर्ण बातें करती रही। वह लगातार उसे झूठी दिलासा देती रही कि सब ठीक है, जबकि उस समय हत्या की योजना सक्रिय थी। इस पूरे व्यवहार को लेकर पुलिस का मानना है कि यह स्क्रिप्ट पहले से तय की गई थी ताकि राजा को किसी खतरे का अंदेशा न हो और हत्यारे अपना काम कर सकें। सोनम के फोन की चैट्स और ऑडियो रिकॉर्डिंग अब फॉरेंसिक जांच के लिए भेजी जा चुकी हैं।
अंतिम संस्कार में शामिल हुआ आरोपी, पुलिस भी रह गई दंग
इस हत्याकांड का सबसे चौंकाने वाला और भावनात्मक रूप से झकझोर देने वाला पहलू यह था कि हत्या में शामिल राज कुशवाहा नाम का आरोपी राजा के अंतिम संस्कार में भी शामिल हुआ। वह इंदौर में राजा की चिता के पास खड़ा था, जैसे कुछ हुआ ही न हो। पुलिस को इससे दो बातें समझ आईं — एक, साजिश इतनी गहरी थी कि आरोपी खुलेआम घूम रहे थे, और दो, कि सबूत छिपाने की कोशिश भी बेहद शातिराना थी।
अब तक कौन-कौन हुए गिरफ्तार?

मेघालय पुलिस ने अब तक इस हत्याकांड में शामिल पांच लोगों को गिरफ्तार किया है। इनकी पहचान इस प्रकार है:
- आकाश राजपूत (19) – ललितपुर, उत्तर प्रदेश
- विशाल सिंह चौहान (22) – इंदौर, मध्यप्रदेश
- राज सिंह कुशवाहा (21) – इंदौर, मध्यप्रदेश
- आनंद कुर्मी (23) – सागर, मध्यप्रदेश
- सोनम रघुवंशी – प्रमुख आरोपी पत्नी